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गौतम अडानी की कहानी: 10 रुपये से शुरू किया बिजनेस आज हैं अरबों डॉलर की कंपनी के मालिक

भारत में जब धनी परिवार का नाम आता है तो अंबानी का नाम सबसे पहले सुनने को मिलता है, उसके बाद अड़ानी के परिवार को सबसे धनी माना जाता है।

गौतम अडानी अडानी समूह के मालिक हैं। वैसे तो भारत में कई बिजनेस टायकून है लेकिन अन्य बिजनेस टायकून की तरह गौतम अडानी को उन्हें उनके पिता से भाग्य नहीं प्राप्त हुआ।

Gautam Adani Success Story in Hindi
गौतम अडानी

इन्होंने अपने जीवन में जो भी कुछ पाया है, अपने मेहनत के दम पर प्राप्त किया है। इसीलिए आज ये दुनिया के रईस लोगों में दूसरे नंबर पर पहुंच चुके हैं।

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यह अपने माता-पिता के सातवीं संतान हैं और परिवार की आर्थिक स्थिति काफी कमजोर थी। इनके पिता कपड़े के व्यापारी थे। बचपन में आर्थिक तंगी में अपना जीवन बिताने के बावजूद गौतम अडानी के मन में किस तरीके से एक बिजनेस टायकून के विचार ने जन्म लिया यह काफी रोचक है।

तो चलिए इस लेख के माध्यम से हम गौतम अडानी की कहानी (Gautam Adani Success Story in Hindi) जानते हैं कि किस तरीके से गौतम अडानी घर-घर साडी बेचकर अपने 30 से 35 साल के करियर में आज अरबों रुपए का साम्राज्य खड़ा कर चुके हैं।

गौतम अडानी कौन है? (Who is Gautam Adani in Hindi)

गौतम अडानी एक सफल भारतीय उद्यमी, अडानी समूह के अध्यक्ष एवं संस्थापक है। इनका जन्म अहमदाबाद के रतनपोल में स्थित सेठ नी पोल क्षेत्र में 24 जून 1962 को एक गुजराती जैन परिवार में हुआ था।

गौतम अडानी के पिता का नाम शान्तिलाल जैन और माता का नाम शान्ता जैन अडानी है। इनके 7 भाई-बहन है। गौतम अडानी भारत के सबसे अमीर व्यक्ति माने जाते हैं।

कॉलेज ड्रॉपआउट से एक बिजनेस टायकून बनने की उल्लेखनीय कहानी

गौतम अडानी ने अपने करियर की शुरुआत कम उम्र में ही कर दी थी। चूंकि एक आर्थिक रूप से कमजोर परिवार से होने के कारण इन्हें पैसे का महत्व पता था‌।

इसीलिए यह बचपन से ही अपने पिता का हाथ बंटाने के लिए साइकिल पर कपड़े और साड़ियां घर-घर जाकर बेचा करते थे।

इस दौरान मलय महादेविया नाम के शख्स से इनकी मुलाकात हुई, जो इनके दोस्त बन गए और आज भी ये दोनों साथ में हैं। दोनों साथ में अपने व्यापार को संभाल रहे हैं।

इन्होंने अपना करियर शुरू करने के लिए अपने दूसरे वर्ष के बाद कॉलेज ड्रॉपआउट कर दिया था। कॉलेज ड्रॉपआउट करने के बाद मात्र 16 साल की उम्र में गौतम अडानी घर से ₹10 लेकर मुंबई पहुंचे और वहां पर हीरे की कुंडी का काम शुरू करने लगे।

इस नौकरी में उन्होंने दो-तीन साल तक काम किया लेकिन इस दौरान इन्होंने व्यापार के बारे में काफी कुछ समझा। एक व्यापार किस तरह बाजार के साथ बदलता है, उन तमाम चीजों के बारे में इन्होंने अनुभव प्राप्त किया।

उसके बाद इन्होंने हीरे की दलाली करनी शुरू कर दी और यह उनका पहला व्यवसाय था, जिसमें इन्होंने अपने हाथ को आजमाया।

उसके कुछ साल के बाद इनके भाई मनसुखलाल ने गौतम अडानी को अहमदाबाद वापस बुला लिया और उन्हें प्लास्टिक की फैक्ट्री में काम दे दिया।

बहुत जल्द इस कंपनी ने भारत के विभिन्न जगहों पर पीवीसी (पॉलिविनाइल क्लोराइड) का आयात करना शुरू कर दिया।

अपने खुद के उद्योग की नींव रखी

1988 में गौतम अडानी ने Adani enterprises की स्थापना की और उसके बाद आयात निर्यात का कारोबार करना शुरू कर दिया।

साल 1991 में आर्थिक सुधार के कारण इनके कारोबार को काफी फायदा मिला, बहुत तेजी से इनके कारोबार ने विकास किया।

1995 में इन्होंने गुजरात मुंद्रा पोर्ट का काम प्राप्त किया। यह कारोबार गौतम अडानी का महत्वपूर्ण सक्सेस पॉइंट था। इससे इनकी ख्याति काफी ज्यादा बढ़ गई।

उद्योगपतियो की लिस्ट में इनका नाम लोगों के सामने आने लगा और इनके ख्याती के कारण इनसे फिरौती वसूलने के लिए 1998 में इन्हें किडनैप तक कर लिया गया था।

पिछले 30-35 सालों में ही गौतम अडानी ने अपने जीवन में काफी सफलता पाई। इनके कारोबार ने काफी ज्यादा विकास किया।

जिस आर्थिक स्थिति के कारण गौतम अडानी अपने कॉलेज को पूरा नहीं कर पाए थे, आज हजारों पढ़े-लिखे लोगों को यह नौकरी देते हैं।

आज गौतम अडानी के पास गुजरात, गुड़गांव, दिल्ली जैसे भारत के विभिन्न शहरों में खुद का घर है। आज कृषि व्यवसाय, हवाई अड्डा, गौतम अडानी ग्रुप बंदरगाह, ग्रीन एनर्जी, प्राकृतिक गैस जैसे कई सेक्टर में इनकी कंपनियां स्थापित है। आज गौतम अडानी के पास लग्जरी कार, प्राइवेट जेट जैसी हर सुविधाएं मौजूद है।

गौतम अडानी के सक्सेस स्टोरी से मिलने वाली महत्वपूर्ण सीख

अडानी की सक्सेस स्टोरी से हमें जीवन में संघर्ष का महत्व पता चलता ही है लेकिन इसके साथ ही सफलता प्राप्त करने के बाद अपने जड़ों से जुड़े रहने की भी सीख मिलती है।

एक सफल उद्योगपति होने के बावजूद गौतम अडानी परोपकारी गतिविधियां करते हैं। समाज के हर एक क्षेत्रों में सुधार लाने के लिए कई ट्रस्ट से भी यह जुड़े हुए हैं।

अडानी की सक्सेस स्टोरी से हमें अवसर की क्षमता को समझने के महत्व के बारे में पता चलता है। उन्होंने भारत की अर्थव्यवस्था के विकास के लिए बंदरगाह के महत्व को समझा।

इसी आवश्यकता को अपने अवसर में बदलते हुए बंदरगाहों क्षमता बढ़ाने के लिए इस पर एकाधिकार स्थापित किया और आज ये भारत के सबसे बड़े बंदरगाह के मालिक बन चुके हैं।

अडानी के सक्सेस स्टोरी से हमें निरंतर सीखने की प्रेरणा मिलती है। गौतम अडानी ने बिजनेस को समझने के लिए किसी नामी और परिष्कृत संस्थान से परीक्षण नहीं लिया। उन्होंने मार्केट में रहते हुए व्यापार की चाल को सीखा, जिसने उन्हें मांग और आपूर्ति का महत्व सिखाया।

अडानी की सक्सेस स्टोरी से हमें अपने मूल्यों पर अटल रहने की भी सीख मिलती है। उन्होंने कई मौकों पर टिप्पणी करते हुए कहा है कि सरकार के साथ काम करने का अर्थ यह नहीं कि उन्हें रिश्वत देने की जरूरत है।

इससे समझ में आता है कि अडानी अपने जीवन में अपने कार्यों के प्रति हमेशा ही वफादार और इमानदार रहे हैं।

FAQ

गौतम अडानी के माता-पिता का क्या नाम है?

गौतम अडानी के माता का नाम शांता बेन अडानी और पिता का नाम शांतिलाल अडानी है।

गौतम अडानी का जन्म कब हुआ था?

गौतम अडानी का जन्म 24 जून 1962 को गुजरात राज्य के अहमदाबाद जिले में एक मध्यवर्गीय जैन परिवार में हुआ था।

अडानी समूह की सबसे बड़ी कंपनी कौन सी है?

वैसे तो अडानी समूह कई सार्वजनिक कंपनियों के कारोबार को संभालती है, जिनमें ADANIENT अडानी एंटरप्राइजेज लिमिटेड सबसे बड़ा स्टॉक है।

गौतम अडानी कितना कमाते हैं?

गौतम अडानी ने पिछले 1 साल से काफी ज्यादा विकास किया है। इनकी संपत्ति में 116 फ़ीसदी की वृद्धि हुई है। साल 2022 के आईआईएफएल वेल्थ होरून इंडिया रिच लिस्ट में शीर्ष स्थान पर इनका नाम आया है। साल 2023 में फोर्ब्स Today’s Winner लिस्ट में गौतम अडानी सबसे ऊपर रहे और 24 घंटे में 4 अरब डॉलर से भी अधिक संपत्ति कमाने वाले पहले व्यक्ति का खिताब प्राप्त किया।

अडानी का निवास स्थान कहां है?

वैसे तो गौतम अडानी का भारत के विभिन्न शहरों में खुद का महल जैसा घर है। लेकिन इनका मुख्य निवास स्थान अडानी हाउस मीठाखली क्रॉसिंग के पास, नवरंगपुरा, अहमदाबाद-380009, गुजरात में है।

निष्कर्ष

उपरोक्त लेख में भारत के जाने-माने उद्योगपति गौतम अडानी की सफलता की कहानी (Gautam Adani Success Story in Hindi) के बारे में जाना। हर एक उद्योगपति की तरह ही गौतम अडानी की सफलता की कहानी संघर्षों से भरी हुई है।

इनके सफलता की कहानी को जानकर काफी कुछ सीखने को मिलता है। इनकी कहानी से पता चलता है कि दृढ़ इच्छाशक्ति, कड़ी मेहनत और व्यापार कौशल के दम पर गौतम अडानी आज इतने बड़े उद्योगपति बन चुके हैं।

अगर हर एक नए उद्योगपति इन गुणों को अपना ले तो वह भी निश्चित ही गौतम अडानी जैसा एक सफल उद्योगपति बनने में कामयाब हो सकता है।

हमें उम्मीद है कि आज का यह लेख आपको पसंद आया होगा। इस लेख को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के जरिए अन्य लोगों के साथ भी जरूर शेयर करें ताकि गौतम अडानी की सफलता की कहानी (Gautam Adani Success Story in Hindi) से हर युवा प्रेरित हो सके।

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